मनुष्य जीवन पर नियंत्रण तथा स्थायित्व केवल योग से ही संभव:जग्गी वासुदेव

ईशा फाउण्डेशन के संस्थापक जग्गी वासुदेव महाराज का पतंजलि आगमन
|पर्यावरण, प्रकृति और इस सम्पूर्ण अस्तित्व के प्रति हमारी भी कुछ जिम्मेदारी है : स्वामी रामदेव
विश्व में पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरूकता की अलख जगा रहे हैं : आचार्य बालकृष्ण
हरिद्वार, 27 सितम्बर। योग, संस्कृति व हिन्दुत्व की पोषक व मानव सेवा में समर्पित संस्थान ईशा फाउंडेशन के संस्थापक जग्गी वासुदेव महाराज का आज पतंजलि आगमन हुआ। इस अवसर पर पतंजलि विश्वविद्यालय के सभागार में आयोजित कार्यक्रम में स्वामी रामदेव ने शॉल ओढ़ाकर किया भव्य स्वागत।

कार्यक्रम में कहा कि स्वामी रामदेव व आचार्य बालकृष्ण के दिशानिर्देशन में पतंजलि निःस्वार्थ भाव से समाज सेवा का महान् कार्य कर रहा है।
जग्गी वासुदेव ने कहा कि हमें स्वयं जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में जागरूक रहने की आवश्यकता है। उदाहरण के तौर पर जब हम अंधकार में रहते हैं तो ज्यादा सतर्क व सजग रहते हैं और एक-एक कदम सोच-समझकर रखते हैं किन्तु प्रकाश मिलते ही हम असावधान हो जाते हैं। हम प्रत्येक क्षण चेतन अवस्था में क्यों नहीं रहते, हमें 24 घण्टे चेतन रहना है क्योंकि हमें यह जीवन दोबारा नहीं मिलेगा। समय व्यर्थ न करें, अपनी सोच, भावनाओं व विचारों को सकारात्मक रखें। उन्होंने कहा कि मनुष्य में अपार बुद्धिमत्ता व जागरूकता है किन्तु मनुष्य का उस पर नियंत्रण नहीं है। यह नियंत्रण तथा स्थायित्व केवल योग से ही संभव है। उन्होंने कहा कि आज की शिक्षा प्रणाली यह नहीं सिखाती कि समस्या क्या है और इसका हल कैसे किया जा सकता है। जीवन बिल्कुल वैसा ही है जैसा आप सोचने लगते हैं। योग जीवन को स्टेबल रखता है। योग आपके शरीर को शारीरिक व मानसिक स्तर पर ऊर्जावान रखता है। सभी को अपने जीवन में योग का समावेश करना चाहिए।
इस अवसर पर स्वामी रामदेव ने कहा कि जग्गी वासुदेव महाराज ने कॉन्शियस प्लेनेट नाम से एक बहुत बड़ा अभियान चलाया है। इस संबंध में जागरूकता फैलाने के लिए संसार के बड़े-बड़े विद्वानों और नागरिकों से संवाद कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस सारी सृष्टि या इस सम्पूर्ण ब्रह्माण्ड के हम ट्रस्टी हैं, और एक ट्रस्टी होने के नाते इस अस्तित्व के प्रति, इस पर्यावरण, प्रकृति और इस सम्पूर्ण अस्तित्व के प्रति हमारी भी कुछ जिम्मेदारी है। मात्र कुछ पौधे लगाना, कुछ जल संरक्षण के लिए कार्य करना, मृदा संरक्षण करना, ये बिन्दू मात्र हैं। इस सारे अस्तित्व ने हमें बनाया है। इसके संरक्षण के प्रति हमारी भी जिम्मेदारी है और उसके लिए हम जग्गा वासुदेव महाराज द्वारा संचालित अभियान का पूरे पतंजलि योगपीठ परिवार की ओर से अभिनंदन करते हैं।
कार्यक्रम में प्रो महावीर , साध्वी आचार्या देवप्रिया , बहन ऋतम्भरा, वित्त प्रमुख ललित मोहन, बहन अंशुल, बहन पारूल, स्वामी परमार्थदेव, डॉ. जयदीप , भाई राकेश, श्री के.एन.एस. यादव , विनय कटियार, वि.सी. पाण्डेय, बहन साधना जी के साथ विश्वविद्यालय व आचार्यकुलम् के उपस्थित प्राध्यापकगण व छात्र-छात्राएँ उपस्थित रहे।