
हरिद्वार, 3 सितम्बर।
स्वामी दर्शनानन्द इंस्टिट्यूट ऑफ मैनेजमेंट एंड टेक्नोलॉजी (एसडीआईएमटी) ने आज अपना 17वां स्थापना दिवस बड़े ही श्रद्धा और उत्साह के साथ हवन पूजन कर मनाया। समारोह का शुभारंभ वैदिक मंत्रोच्चारण एवं यज्ञ हवन के साथ हुआ, जिसमें संस्थान के अध्यापक, छात्र-छात्राएं एवं गणमान्य अतिथियों ने भाग लिया।
इस विशेष अवसर पर योगगुरु स्वामी रामदेव एवं आचार्य बालकृष्ण ने सभी विद्यार्थियों और शिक्षकों को शुभकामनाएं एवं आशीर्वचन देते हुए, संस्थान की स्थापना के उद्देश्य पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि आधुनिक शिक्षा प्रणाली के साथ गुरुकुलीय पद्धति का समावेश आज की शिक्षा को पूर्णता की ओर ले जाता है। छात्रों को सफलता प्राप्त करने के लिए अपनी पूर्ण क्षमता और समर्पण के साथ कार्य करना चाहिए।
संस्थान की निदेशक डॉ. जयलक्ष्मी ने जानकारी दी कि एसडीआईएमटी की स्थापना 3 सितम्बर 2009 को की गई थी। वर्तमान में संस्थान में MBA, BBA एवं BCA जैसे व्यावसायिक पाठ्यक्रम संचालित किए जा रहे हैं।
हवन के दौरान पं. हेमंत तिवारी ने यज्ञ की महत्ता पर प्रकाश डाला और इसे जीवन में सकारात्मक ऊर्जा व आंतरिक शुद्धि का माध्यम बताया।
स्वामी दर्शनानन्द गुरूकुल महाविद्यालय के आचार्य विरक्त देव एवं स्वामी नारायण देव ने कहा कि एसडीआईएमटी का उद्देश्य छात्रों को प्राचीन भारतीय शिक्षा के मूल्यों के साथ-साथ आधुनिक तकनीकी ज्ञान प्रदान करना है, जिससे वे चरित्रवान और कुशल नागरिक बन सकें।
हवन यज्ञ में प्रमुख रूप से आहूति देने वालों में सुघांशु महाराज, यशपाल सैनी, यशवंत सिंह चौहान, अजय नम्बरदार, हरद्वारी लाल, घनश्याम सिंह, अनिल गोयल, एवं प्रधानाचार्य अशोक कुमार गौतम सहित अनेक गणमान्य लोग उपस्थित रहे।साथ ही संस्थान के संकाय सदस्य जैसे अंजुम सिद्दिकी, अनुराग गुप्ता, पंकज चौधरी, दिव्या राजपूत, विकास अग्रवाल, धरणीधर वाग्ले, वर्षा रानी, एवं सुधांशु जगता समेत बड़ी संख्या में छात्रों ने सक्रिय भागीदारी की।