विजय सुब्रह्मण्यम
देहरादून। उत्तराखंड पत्रकार यूनियन की प्रदेश कार्यकारिणी की महत्वपूर्ण आपात बैठक मंगलवार को प्रदेश अध्यक्ष आशीष ध्यानी की अध्यक्षता में संपन्न हुई।
उत्तराखंड पत्रकार यूनियन द्वारा 5 मार्च को पुलिस मुख्यालय (PHQ) के बाहर प्रस्तावित धरना फिलहाल स्थगित कर दिया गया है। यह निर्णय *पुलिस मुख्यालय द्वारा वार्ता के लिए उठाए गए सकारात्मक रुख* को देखते हुए लिया गया है।
*पुलिस मुख्यालय से वार्ता का आमंत्रण*
पुलिस मुख्यालय से यूनियन को वार्ता के लिए आमंत्रित किया गया है। यूनियन का मानना है कि पहले संवाद के माध्यम से समाधान की कोशिश की जाए और अपनी मांगों को सीधे *पुलिस प्रमुख के समक्ष* रखा जाए। यदि वार्ता से संतोषजनक समाधान नहीं निकलता, तो आगे की रणनीति तय की जाएगी।
*पत्रकारों की सुरक्षा पर कोई समझौता नहीं*
उत्तराखंड पत्रकार यूनियन स्पष्ट करती है कि यह केवल सांकेतिक स्थगन है, न कि संघर्ष का अंत। पत्रकारों के अधिकारों, सुरक्षा और स्वतंत्रता को लेकर यूनियन पूरी तरह प्रतिबद्ध है। यदि वार्ता से संतोषजनक समाधान नहीं मिलता, तो आवश्यकतानुसार आंदोलन किया जाएगा।
*पुलिस मुख्यालय ने अपनाया सकारात्मक रुख*
पुलिस मुख्यालय ने सकारात्मक रुख अपनाते हुए उत्तराखंड पत्रकार यूनियन के प्रतिनिधिमंडल को वार्ता के लिए आमंत्रित किया है। इसे देखते हुए यूनियन ने 5 मार्च को प्रस्तावित धरना स्थगित करने का निर्णय लिया है।
*यूनियन की मांगें बरकरार*
यूनियन की मुख्य मांग पत्रकार सुधांशु थपलियाल की गिरफ्तारी की निष्पक्ष जांच और दोषी पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई हो। इसके साथ ही, राज्य में पत्रकारों की सुरक्षा और स्वतंत्रता सुनिश्चित करने के लिए ठोस नीतिगत निर्णय लिए जाने की भी मांग की जाएगी।
इस अवसर पर महासचिव हरीश जोशी, वरिष्ठ प्रदेश अध्यक्ष तिलक राज, उपाध्यक्ष किरण शर्मा, संगठन मंत्री इंद्रेश कोहली, सचिव सुशील रावत, संयुक्त मंत्री राजकिशोर तिवारी, प्रचार मंत्री शशि शेखर, सचिन गौनियाल, कार्यकारिणी सदस्य प्रमोद गिरी आदि उपस्थित रहे।